- Date : 22/01/2023
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चिकित्सकीय आपात स्थिति के लिए बहुत ज़रूरी है हेल्थ इंश्योरेंस या स्वास्थ्य बीमा करना।

Health insurance for medical emergency: हम सभी जानते हैं कि चिकित्सकीय आपात स्थिति कभी भी और किसी के भी साथ हो सकती है। इससे बचा या टाला नहीं जा सकता। ऐसे में हमारे पास केवल एक विकल्प रह जाता है, और वह है अपने को ऐसी किसी भी ऐसी स्थिति के लिए तैयार रखना। यह तैयारी शारीरिक, मानसिक और आर्थिक तीनों तरह से होनी चाहिए। आर्थिक तैयारी के लिए स्वास्थ्य बीमा कराना बहुत ही आवश्यक है।
हमारे देश में अधिकांश लोग स्वास्थ्य और उससे जुड़ी समस्याओं के प्रति जागरुक नहीं हैं। स्वास्थ बीमा के संबंध में जागरुकता और भी कम है। हालांकि 2019 में पूरे विश्व में हाहाकार मचाने वाली कोरोना महामारी के बा स्थिति में कुछ बदलाव आया है और लोग अपने स्वास्थ्य के प्रति कुछ हद तक सचेत हुए हैं लेकिन स्वास्थ्य बीमा कराने वालों की संख्या अब भी बहुत कम है।
लोग स्वस्थ रहने के लिए जिम जाते हैं, योग करते हैं, अपने आहार पर ध्यान देते हैं, और इन पर पैसे भी खर्च करते हैं लेकिन चिकित्सकीय आपात स्थिति के बारे में नहीं सोचते। आपात परिस्थितियाँ अक्सर लोगों को असहाय बना देती है। ऐसे मे स्वास्थ्य बीमा एक वरदान हो सकता है।
चिकित्सा बीमा कराने के कई लाभ हैं। चिकित्सा बीमा कराने से किसी भयानक बीमारी हो जाने पर आपको अपनी जेब से खर्च नहीं करना पड़ता। यह बीमा अस्पताल और दवाओं के खर्च की भरपाई करता है और आपको कर्ज लेने या किसी के सामने हाथ फैलाने की ज़रूरत नहीं पड़ती।
यह भी पढ़ें: ७ वित्तीय नियम
चिकित्सकीय आपात्स्थिति की तैयारी कैसे कर सकते हैं
- चिकित्सकीय आपात्स्थिति से निपटने के लिए सोच समझकर एक स्वास्थ्य बीमा लेना बहुत जरूरी है। बीमा कराते समय अपनी संभावित जरूरतों का ध्यान अवश्य रखें।
- अगर बीमा ले रहे हैं तो माता-पिता के लिए अलग पॉलिसी लें और अपने तथा अपने परिवार के लिए अलग। उम्र अधिक होने पर अधिक प्रीमियम देना पड़ता है। अलग-अलग बीमा लेने से आपको अपने बीमे के लिए अधिक प्रीमियम नहीं देना पड़ेगा।
- अगर आप वेतनभोगी हैं और कंपनी की ओर से स्वास्थ्य बीमा कराया गया है तो देख लें कि वह काफी है या नहीं। जरूरत हो तो इसे बढ़ाएं और खुद पैसे दें।
- आपात स्थिति से निपटने के लिए अलग से पैसे बचाकर फंड तैयार रखें। कई ऐसे खर्च होते हैं जो आपको अपनी जेब से करने पड़ते हैं। उस समय यह पैसा काम आएगा और आपको कहीं हाथ नहीं फैलाना पड़ेगा।
- बीमा पॉलिसी के कागजातों के बारे में परिवार और अपनों को बता कर रखें। जिससे जरूरत के समय स्वास्थ्य बीमा पॉलिसी दिखाई जा सके। उन्हें अलग रखे गये पैसों के बारे में भी जानकारी होनी चाहिए ताकि समय पर उनका सही उपयोग हो सके। हो सकता है कि आपात स्थिति आने पर आप उन्हें इसके बारे में न बता पाएं और वे दस्तावेज़ दिखाने में असमर्थ रहें। अपने मोबाइल में पालिसी का नंबर और एंबुलेंस का नंबर रखना अच्छा रहता है।
अगर आप यह करते हैं तो किसी भी चिकित्सकीय आपात स्थिति का सामना करने में समर्थ होंगे। और आखिर में पर सबसे ज़रूरी बात - स्वस्थ जीवन शैली अपनाएं और बीमारियों को दूर रखने की कोशिश करें।
यह भी पढ़ें: मार्केट में निफ़्टी ५० से रिटर्न कैसे पाए?
Health insurance for medical emergency: हम सभी जानते हैं कि चिकित्सकीय आपात स्थिति कभी भी और किसी के भी साथ हो सकती है। इससे बचा या टाला नहीं जा सकता। ऐसे में हमारे पास केवल एक विकल्प रह जाता है, और वह है अपने को ऐसी किसी भी ऐसी स्थिति के लिए तैयार रखना। यह तैयारी शारीरिक, मानसिक और आर्थिक तीनों तरह से होनी चाहिए। आर्थिक तैयारी के लिए स्वास्थ्य बीमा कराना बहुत ही आवश्यक है।
हमारे देश में अधिकांश लोग स्वास्थ्य और उससे जुड़ी समस्याओं के प्रति जागरुक नहीं हैं। स्वास्थ बीमा के संबंध में जागरुकता और भी कम है। हालांकि 2019 में पूरे विश्व में हाहाकार मचाने वाली कोरोना महामारी के बा स्थिति में कुछ बदलाव आया है और लोग अपने स्वास्थ्य के प्रति कुछ हद तक सचेत हुए हैं लेकिन स्वास्थ्य बीमा कराने वालों की संख्या अब भी बहुत कम है।
लोग स्वस्थ रहने के लिए जिम जाते हैं, योग करते हैं, अपने आहार पर ध्यान देते हैं, और इन पर पैसे भी खर्च करते हैं लेकिन चिकित्सकीय आपात स्थिति के बारे में नहीं सोचते। आपात परिस्थितियाँ अक्सर लोगों को असहाय बना देती है। ऐसे मे स्वास्थ्य बीमा एक वरदान हो सकता है।
चिकित्सा बीमा कराने के कई लाभ हैं। चिकित्सा बीमा कराने से किसी भयानक बीमारी हो जाने पर आपको अपनी जेब से खर्च नहीं करना पड़ता। यह बीमा अस्पताल और दवाओं के खर्च की भरपाई करता है और आपको कर्ज लेने या किसी के सामने हाथ फैलाने की ज़रूरत नहीं पड़ती।
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चिकित्सकीय आपात्स्थिति की तैयारी कैसे कर सकते हैं
- चिकित्सकीय आपात्स्थिति से निपटने के लिए सोच समझकर एक स्वास्थ्य बीमा लेना बहुत जरूरी है। बीमा कराते समय अपनी संभावित जरूरतों का ध्यान अवश्य रखें।
- अगर बीमा ले रहे हैं तो माता-पिता के लिए अलग पॉलिसी लें और अपने तथा अपने परिवार के लिए अलग। उम्र अधिक होने पर अधिक प्रीमियम देना पड़ता है। अलग-अलग बीमा लेने से आपको अपने बीमे के लिए अधिक प्रीमियम नहीं देना पड़ेगा।
- अगर आप वेतनभोगी हैं और कंपनी की ओर से स्वास्थ्य बीमा कराया गया है तो देख लें कि वह काफी है या नहीं। जरूरत हो तो इसे बढ़ाएं और खुद पैसे दें।
- आपात स्थिति से निपटने के लिए अलग से पैसे बचाकर फंड तैयार रखें। कई ऐसे खर्च होते हैं जो आपको अपनी जेब से करने पड़ते हैं। उस समय यह पैसा काम आएगा और आपको कहीं हाथ नहीं फैलाना पड़ेगा।
- बीमा पॉलिसी के कागजातों के बारे में परिवार और अपनों को बता कर रखें। जिससे जरूरत के समय स्वास्थ्य बीमा पॉलिसी दिखाई जा सके। उन्हें अलग रखे गये पैसों के बारे में भी जानकारी होनी चाहिए ताकि समय पर उनका सही उपयोग हो सके। हो सकता है कि आपात स्थिति आने पर आप उन्हें इसके बारे में न बता पाएं और वे दस्तावेज़ दिखाने में असमर्थ रहें। अपने मोबाइल में पालिसी का नंबर और एंबुलेंस का नंबर रखना अच्छा रहता है।
अगर आप यह करते हैं तो किसी भी चिकित्सकीय आपात स्थिति का सामना करने में समर्थ होंगे। और आखिर में पर सबसे ज़रूरी बात - स्वस्थ जीवन शैली अपनाएं और बीमारियों को दूर रखने की कोशिश करें।
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