Why Insuring your Health is a good Decision

अगर आपके पास स्वास्थ्य बीमा नहीं है और आप कोई पॉलिसी खरीदने की योजना भी नहीं बना रहे तो आपके लिए यह पढ़ना ज़रूरी है।

अपना स्वास्थ्य बीमा करवाना एक अच्छा निर्णय क्यों है?

आखिरी बार 2014 में किया गया एनएसएसओ का दस वर्षीय सर्वे, आपके और आपके परिवार के लिए स्वास्थ्य बीमा खरीदने का महत्व बताता है। लेकिन देश में ज़्यादातर लोगों के पास स्वास्थ्य बीमा ही नहीं है। सर्वे के मुताबिक:

  • भारत की ग्रामीण आबादी के 86% और शहरी आबादी के 82% लोगों के पास किसी प्रकार का स्वास्थ्य बीमा नहीं है
  • शहरी क्षेत्रों में रह रहे प्रत्येक चार भारतीयों में से तीन मेडिकल उपचार के लिए अपने परिवार की बचत पर भरोसा करते हैं
  • 10 में 7 भारतीय, बीमारियों के इलाज को बीच में छोड़ने के लिए पैसे की समस्या को प्राथमिक कारण बताते हैं

हालांकि देश की आबादी का वो 15% हिस्सा जिसके पास किसी न किसी प्रकार की बीमा सुरक्षा मौजूद है, वो भी अपर्याप्त सुरक्षा होने की वजह से व्यापक सुरक्षा का लाभ नहीं उठा पाता। 2016 में आई एक रिपोर्ट के मुताबिक देश में स्वास्थ्य बीमा के कुल खरीदारों में से 50% के पास अपर्याप्त बीमा सुरक्षा है। इसका मतलब है कि भारत की सवा सौ करोड़ आबादी में से सिर्फ 7-8% लोग ही स्वास्थ्य समस्याओं के दौरान पर्याप्त बीमा सुरक्षा का लाभ उठा पाते हैं।


स्वास्थ्य बीमा न होने या अपर्याप्त बीमा होने के नुकसान

किसी प्रकार का स्वास्थ्य बीमा न होने या अपर्याप्त बीमा होने का आपके जीवन के विभिन्न पहलुओं पर नकारात्मक प्रभाव हो सकता है। गंभीर स्वास्थ्य समस्याएं आने की स्थिति में आपको अपनी बचत की राशि में से पैसा खर्च करना पड़ सकता है या फिर दोस्तों और रिश्तेदारों से उधार लेना पड़ सकता है या अपनी संपत्ति भी बेचनी पड़ सकती है। कैंसर जैसी बड़ी बीमारी की स्थिति में, पैसे की कमी के कारण आपको बेहतर इलाज और उसकी अवधि पर भी समझौता करना पड़ सकता है।


पहले से स्वास्थ्य बीमा न होने की स्थिति में, ज़रूरत पड़ने पर आपको इलाज के लिए पहले के मुकाबले बढ़ी हुई दरों पर ज़्यादा कीमत चुकानी पड़ सकती है। साल 2000 से 2014 के बीच, भारत में अस्पताल में भर्ती किए जाने के मामलों में शहरी क्षेत्रों में औसत खर्च 176% और ग्रामीण क्षेत्रों में 160% तक बढ़ गया है। हैरानी की बात नहीं कि अब भारत के टियर 2 और टियर 3 शहरों में रहने वाले लोगों को भी किसी गंभीर बीमारी के इलाज के लिए कई लाख रुपये खर्च करने पड़ जाते हैं।

बीमारियां

और उनके इलाज का औसत खर्च


दिल के रोग

  • 1.5 लाख से 8 लाख रुपये
  • इलाज के प्रकार पर निर्भर (एंजियोप्लास्टी, बायपास सर्जरी, वाल्व रिप्लेसमेंट आदि)


कैंसर का उपचार

  • 1 लाख से 7 लाख रुपये
  • कैंसर के प्रकार पर निर्भर


किडनी डायलिसिस

  • 1.5 लाख से 2.5 लाख रुपये सालाना


किडनी रिप्लेसमेंट (बदलवाना)

  • 4-5 लाख रुपये
  • इसके अतिरिक्त ऑपरेशन के बाद की देखभाल में लगने वाले 5 से 10 हज़ार रुपये

अपनी बचत का एक बड़ा हिस्सा इलाज के लिए अलग रखने की जगह, उस पैसे का इस्तेमाल एक व्यापक बीमा कवर के लिए उच्च प्रीमियम के भुगतान में करना एक ज़्यादा सही वित्तीय फैसला है।


इसके अतिरिक्त, स्वास्थ्य बीमा का होना यह सुनिश्चित करता है कि आप और आपका परिवार स्वास्थ्य से जुड़ी परेशानियों के प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष परिणामों से सुरक्षित हैं। अगर आपके पास पर्याप्त बीमा कवर मौजूद है तो आय में कमी, इलाज के बाद की देखभाल की लागत या लंबे इस्तेमाल के लिए मेडिकल उपकरण खरीदने जैसी परिस्थितियों में आपको आसानी होती है।


समस्या कहां है?

आम धारणा के विपरीत, भारत में अपर्याप्त स्वास्थ्य बीमा के मामलों की बड़ी संख्या की वजह उच्च प्रीमियम या आय की कमी नहीं है। भारत के 8 बड़े शहरों में 6 लाख से 36 लाख रुपये सालाना आय वर्ग वाले 10 हज़ार लोगों पर किए गए एक सर्वे में सामने आया कि औसत कवरेज मात्र 3 लाख रुपये था। साथ ही उच्च जोखिम वाले समूह में हर 10 में से 6 लोगों के पास पर्याप्त बीमा कवर नहीं था।


यह आंकड़े दर्शाते हैं कि वास्तविक समस्या है स्वास्थ्य बीमा के महत्व को समझने में कमी। ज़्यादातर मामलों में, लोग मुश्किल दौर से गुज़रने के बाद इसे समझ पाते हैं। तब तक वो अपने या अपने परिवार के सदस्यों के इलाज के लिए भारी खर्च उठा चुके होते हैं।

समाधानपर्याप्त स्वास्थ्य बीमा खरीदना

क्षतिपूर्ति योजना बनाम निश्चित लाभ योजना

एक क्षतिपूर्ति योजना में

(एक सामान्य स्वास्थ्य बीमा प्लान):

  • उपचार और अस्पताल में भर्ती करने की लागत = 1 लाख रुपये
  • किसी नेटवर्क से जुड़े अस्पताल में नकदरहित (कैशलैस) भर्ती किए जाने की स्थिति में सीधे अस्पताल को राशि का भुगतान किया जाता है या बाद में व्यक्ति के खर्च की आपूर्ति कर दी जाती है

शुद्ध प्रभाव = बिना लागत के उपचार या जेब से न्यूनतम खर्च

एक निश्चित लाभ योजना में

उपचार की लागत चाहे जो भी हो लेकिन इसमें अलग-अलग स्थितियों में मिलने वाली दावा राशि (भुगतान राशि) पहले से तय होती है। जैसे गंभीर बीमारी की स्थिति में, अस्पताल की नकदरहित योजना का लाभ लेने पर, व्यक्तिगत दुर्घटना होने पर और अक्षमता बीमा योजनाओं के लिए पहले से राशि तय होती है


भुगतान की गई राशि का उपयोग उन खर्चों को कवर करने के लिए किया जा सकता है जो आम तौर पर नियमित स्वास्थ्य बीमा योजनाओं में शामिल नहीं होते हैं। उदाहरण के तौर पर अस्पताल में भर्ती होने के कारण हुई आर्थिक हानि, परिवार से जुड़ी लागत आदि


पॉलिसी में उल्लेखित निर्देशों के अनुसार जांच रिपोर्ट या अस्पताल में भर्ती होने के दस्तावेज़ों को जमा करने पर पूर्ण भुगतान किया जाता है


दिमाग की पूर्ण शांति की गारंटी के अलावा, भारत के स्वास्थ्य बीमा क्षेत्र में कुछ ऐसे नए ट्रेंड्स भी हैं जो पर्याप्त स्वास्थ्य बीमा खरीदने को एक समझदारी भरा फैसला बनाते हैं।


गंभीर बीमारियों के लिए कवर

सामान्य बीमारियों के विपरीत, हृदय रोग या कैंसर जैसी गंभीर बीमारी के इलाज में कई सालों में लाखों रुपये का खर्च लग सकता है। गंभीर बीमारियों के प्लान में, जांच में बीमारी का पता चलने पर एकमुश्त भुगतान कर दिया जाता है। अब यह आपका फैसाल होता है कि आप इसका उपयोग इलाज के लिए, अब तक आई लागत की पूर्ति के लिए या फिर किसी और उद्देश्य के लिए करें।


आप अधिक आत्मविश्वास के साथ जिएंगे यदि आपके पास यह जानकारी हो कि नियमित रूप से प्रीमियम का भुगतान करके, गंभीर बीमारियों के निदान पर आपको एकमुश्त भुगतान प्राप्त होगा।


रोग/अवस्था के लिए विशिष्ट योजनाएं

एक ऐसे स्वस्थ व्यक्ति की तुलना में जिसके परिवार में मधुमेह का इतिहास न रहा हो, मधुमेह के पारिवारिक इतिहास वाले एक मोटे व्यक्ति को यह बीमारी होने की आशंका अधिक होती है। वह अधिक वजन वाला व्यक्ति खुद के लिए खास तौर पर तैयार किया गया ऐसा प्लान चुन सकता है जो मधुमेह और उससे संबंधित जटिलताओं के उपचार के लिए कवर देता हो। भारत में आज मधुमेह के रोगियों की संख्या ....करोड़ के पास पहुंच गई है। ऐसे में बीमाकर्ता उन लोगों के लिए स्थिति-विशिष्ट योजनाओं की पेशकश कर रहे हैं जो अपने स्वास्थ्य की खास ज़रूरतों के आधार पर व्यापक सुरक्षा कवर चाहते हैं।

एक बीमा योजना चुनते समय

याद रखने योग्य बातें

आवेदक की उम्र, लिंग, बीमा राशि और स्वास्थ्य पर आधारित होता है स्वास्थ्य बीमा का प्रीमियम

फैमिली फ्लोटर योजनाओं (एक प्लान में पूरे परिवार को कवर देने वाली योजना) में परिवार के सबसे बड़े व्यक्ति की उम्र, स्वास्थ्य की वर्तमान स्थिति और स्वास्थ्य जोखिम के आधार पर तय होता है प्रीमियम

उच्च स्वास्थ्य जोखिम वाले वृद्ध व्यक्तियों के लिए बेहतर होते हैं व्यक्तिगत प्लान

ऐसे परिवार जिनमें सबसे बड़ा व्यक्ति स्वस्थ हो, फैमिली फ्लोटर योजनाएं कम लागत पर प्रदान करती हैं बेहतर लाभ

संयुक्त बीमा योजनाएं

यदि आपके स्वास्थ्य की गुणवत्ता और आपका जीवन एक-दूसरे से जुड़े हुए हैं तो क्या यह ज़रूरी नहीं है कि दोनों को सुरक्षित करने के लिए अलग-अलग बीमा योजनाएं खरीदी जाएं? अच्छी बात है कि अब ऐसा नहीं है। आईआरडीएआई ने अब बीमाकर्ताओं को संयुक्त योजनाओं को लाने की इजाज़त दे दी है। यह एक ऐसा प्लान होता है जो व्यक्ति के स्वास्थ्य और जीवन दोनों के लिए बीमा कवर प्रदान करता है।


एक ऐसा प्लान स्वास्थ्य कवर को बढ़ाने और काफी कम प्रीमियम पर डेथ बेनिफिट (मृत्यु होने पर परिजनों को मिलने वाले लाभ) को अधिकतम करने में मदद कर सकता है। यह विकल्प कई पॉलिसियों और प्रीमियम भरने की तारीखों का ध्यान रखने और विभिन्न बीमा कंपनियों से निपटने की ज़रूरत को भी समाप्त करता है।

पहने जाने वाले उपकरणों के माध्यम से स्वास्थ्य पर नज़र


वर्तमान में, स्वास्थ्य बीमा कंपनियां पॉलिसी की खरीद या नवीनीकरण के समय स्वास्थ्य की जांच-पड़ताल के माध्यम से जोखिम का आकलन करती हैं। अब किसी व्यक्ति के स्वास्थ्य पर लगातार नज़र रखने के लिए, पहने जाने वाले मेडिकल उपकरणों का इस्तेमाल करके इस प्रक्रिया को बदला जा रहा है।


इससे आपको अपने स्वास्थ्य और फिटनेस में सुधार के लिए एक अतिरिक्त प्रोत्साहन मिलेगा। एक सकारात्मक रिकॉर्ड कम प्रीमियम भरने की योग्यता प्राप्त करने में आपकी सहायता करेगा। इसके अतिरिक्त, फिट रहने से बीमारियों के जोखिम को कम करने में मदद मिलती है, जिससे आपके द्वारा स्वास्थ्य कवर के उपयोग की संभावना कम हो जाएगी। यह एक सकारात्मक चक्र स्थापित करेगा, जहां अच्छा स्वास्थ्य आपको अच्छी बचत की ओर ले जाएगा, जिसकी वजह से आपका स्वास्थ्य और भी बेहतर होगा।

अच्छे स्वास्थ्य के फायदे

पहले बीमाकर्ता उच्च प्रीमियम के रूप में उन लोगों को दंडित करने का एक नकारात्मक तरीका अपनाते थे जो फिट और स्वस्थ रहने में नाकाम रहते थे। अब इसे एक सकारात्मक तरीके से बदल दिया गया है जिसकी वजह से स्वस्थ रहना और बीमारियों को दूर रखना आसान हो गया है। उदाहरण के लिए, नियमित रूप से व्यायाम करने पर आप अपने जिम की फीस में छूट का दावा कर सकते हैं। रोज़ स्विमिंग या योग का अभ्यास करने से आप मुफ्त में स्वास्थ्य जांच करवाने की योग्यता प्राप्त कर लेते हैं। या फिर आप इनाम और उपहारों के रूप में कम प्रीमियम या स्वास्थ्य पर सटीक नज़र बनाए रखने के लिए फिटनेस उपकरणों को जीत सकते हैं।


फिर भी यदि आपको किसी बीमारी या स्वास्थ्य से जुड़ी समस्या का सामना करना पड़ता है तो आपके इलाज के खर्च की पूर्ति करने के लिए आपकी कम कीमत और उच्च कवर वाली पॉलिसी पर्याप्त होगी।


आईआरडीएआई और सरकार की पहल

लोगों को स्वास्थ्य बीमा खरीदने के लिए प्रोत्साहित करने के महत्व को पहचाने हुए सरकार और आईआरडीएआई ने स्वास्थ्य कवर को अधिक आकर्षक बनाने के लिए कुछ कदम उठाए हैं।

  • पॉलिसी पोर्टेबिलिटी

पहले जब एक व्यक्ति अपने स्वास्थ्य बीमाकर्ता को बदलना चाहता था तो उसे पुरानी पॉलिसी रद्द करके नया प्लान खरीदना पड़ता था। परिणामस्वरूप ग्राहक को नो क्लेम बोनस की हानि, निर्दिष्ट बीमारियों के लिए इंतज़ार की अवधि के आवेदन जैसे अन्य कई नुकसान उठाने पड़ते थे।


पॉलिसी पोर्टेबिलिटी का नियम ग्राहकों को पुरानी योजनाओं से जुड़े लाभ नई पॉलिसी में बिना किसी परेशानी के ट्रांसफर करने की अनुमति देता है। इससे यह सुनिश्चित होता है कि आप विभिन्न बीमाकर्ताओं द्वारा पेश की गई सर्वोत्तम योजना को बिना किसी प्रतिबंध के अपने परिवार के लिए खरीदने पर ध्यान केंद्रित कर सकते हैं।

  • टैक्स लाभ

पहले कोई व्यक्ति धारा 80 डी के तहत, अपनी कर योग्य आय में से स्वास्थ्य बीमा प्रीमियम की मद में 15 हज़ार रुपये की कटौती करवा सकता था। लेकिन 1 अप्रैल 2015 से इसे 25 हज़ार रुपये तक बढ़ा दिया गया है। इसमें अपने और परिवार के सदस्यों के स्वास्थ्य की सतर्कता जांच के लिए काटे जाने वाले 5 हज़ार रुपये भी शामिल हैं।

इसके अलावा, लोग वरिष्ठ नागरिक की श्रेणी में शामिल माता-पिता के लिए स्वास्थ्य बीमा की खरीद पर भुगतान किए गए प्रीमियम पर कटौती का दावा भी कर सकते हैं। अप्रैल 2015 से इस कटौती की सीमा को 20 हज़ार रुपये से बढ़ाकर 30 हज़ार रुपये कर दिया गया है। अगर मान लें कि आप पर उच्चतम दर पर टैक्स लगाया जाता है, तो 55 हज़ार रुपये की संयुक्त कटौती से आप टैक्स में लगभग 18,500 रुपये की बचत कर सकते हैं।


राष्ट्रीय स्वास्थ्य बीमा योजना (आरएसबीवाय), एम्पलॉयमेंट स्टेट इंश्योरेंस स्कीम (ईएसआईएस), सेंट्रल गवर्मेंट हेल्थ स्कीम (सीजीएचएस), आम आदमी बीमा योजना (एएबीवाय), बीमा योजना (जेबीवाय) और हेल्थ इंश्योरेंस स्कीम (यूएचआईएस) के रूप में कई सरकारी बीमा योजनाएं भी उपलब्ध हैं।


इन योजनाओं को निम्न आय वाले व्यक्तियों और सरकारी कर्मचारियों की सुविधा के लिए बनाया गया है। वेतनभोगी व्यक्तियों या अच्छी आय अर्जित करने वाले उद्यमियों को विभिन्न स्वास्थ्य बीमा योजनाओं की तुलना करके अपने और परिवार के लिए सही कवर खरीदना चाहिए। यह उनके लिए अपनी वित्तीय स्थिति को प्रभावित किए बिना अच्छी स्वास्थ्य देखभाल का लाभ लेने का सबसे सरल और स्मार्ट तरीका है।

संवादपत्र

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