- Date : 08/07/2023
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आरबीआई ने डेबिट, क्रेडिट और प्रीपेड कार्ड यूजर्स को अपना फेवरेट कार्ड नेटवर्क चुनने की मंजूरी देने वाला एक मसौदा नियम पेश किया है, जो कि पूर्वनिर्धारित कार्ड नेटवर्क ऑप्शंस की मौजूदा प्रथा को चुनौती देता है।

New Debit Credit Card Rules: भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने एक मसौदा नियम पेश किया है, जिसमें डेबिट, क्रेडिट और प्रीपेड कार्ड इस्तेमाल करने वालों को अपने पसंदीदा कार्ड नेटवर्क चुनने का अधिकार देगा। कार्ड नेटवर्क पोर्टेबिलिटी से जुड़ा यह नियम मौजूदा सिस्टम को चुनौती देता है, जहां कार्ड नेटवर्क ऑप्शन देने वालों और नेटवर्क के बीच समझौतों द्वारा पूर्व निर्धारित होते हैं। आरबीआई के ड्राफ्ट सर्कुलर के अनुसार, कार्ड जारी करने वालों को कार्ड नेटवर्क के साथ किसी भी व्यवस्था या समझौते में जाने से प्रतिबंधित किया जाएगा जो उन्हें अन्य कार्ड नेटवर्क की सेवाओं का लाभ उठाने से रोकता है।
आरबीआई ने कहा कि कार्ड नेटवर्क और कार्ड जारी करने वाले बैंक और नॉन-बैंक के बीच मौजूद व्यवस्था ग्राहकों के लिए ऑप्शन देने के अनुकूल नहीं है। ड्राफ्ट सर्कुलर में कहा गया है कि कार्ड जारी करने वाले अपने इलिजिबल कस्टमर्स को कई कार्ड नेटवर्क में से किसी एक को चुनने का विकल्प प्रदान करेंगे। इस विकल्प का उपयोग ग्राहक कार्ड जारी करने के समय या उसके बाद किसी भी समय कर सकते हैं। आरबीआई ने 4 अगस्त तक ड्राफ्ट सर्कुलर पर हितधारकों की टिप्पणियां मांगी हैं।
आपको बता दें कि कार्ड नेटवर्क पोर्टेबिलिटी का मतबल कस्टमर्स की अपने कार्ड अकाउंट को एक नेटवर्क से दूसरे नेटवर्क में स्थानांतरित करने की क्षमता से है। जैसे हम एक ही फोन नंबर रखते हुए अपने मोबाइल सर्विस प्रोवाइ़डर्स को बदल सकते हैं, वैसे ही कार्ड नेटवर्क पोर्टेबिलिटी कार्डधारकों को एक अलग पेमेंट नेटवर्क पर स्विच करते समय अपने मौजूदा कार्ड अकाउंड, बैलेंस और क्रेडिट हिस्ट्री को बनाए रखने की इजाजत देती है। एक्सपर्ट्स का कहना है कि यह फ्लेक्सिबिलिटी कस्टमर्स को वह नेटवर्क चुनने का अधिकार देता है, जो उनकी जरूरतों के लिए सबसे सही हो।