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टैक्स से बचने और बेहतर रिटर्न के लिए आजकल लोग म्यूचुअल फंड्स में खूब निवेश कर रहे हैं। लंबे समय के लिए निवेश की प्लानिंग कर रहे लोग ELSS की तरफ आकर्षित हो रहे हैं।

ELSS Vs SIP

ELSS Vs SIP: अगर आप टैक्स भी बचाना चाहते हैं और अपने निवेश पर बेहतर रिटर्न भी चाहते हैं तो फिर आपके लिए एक शानदार विकल्प हम यहां बताने जा रहे हैं। यह है इक्विटी लिंक्ड सेविंग्स स्कीम जिसे आप ELSS बोलते हैं। यह म्यूचुअल फंड में इस समय लोग खूब निवेश कर रहे हैं। लेकिन कुछ लोग इस बात को लेकर कंफ्यूज रहते हैं कि ELSS में एकमुश्त निवेश करना चाहिए या फिर एसआईपी (SIP) अधिक बेहतर है। तो चलिए इसका भी जवाब आपको दे देते हैं। 


दरअसल, ELSS में एकमुश्त निवेश आपके लिए तब फायदेमंद अधिक है जब फाइनेंसियल ईयर के अंत में टैक्स से खुद को बचाना चाहते हैं। क्योंकि उस समय आप एकमुश्त निवेश करेंगे तो आपको फायदा मिलेगा। इसके अलावा यहां रिटर्न काफी शानदार है। मार्केट जब भी मुनाफे की तरह भागेगा आपको ELSS में तगड़ा फायदा होगा। 


ELSS का फायदा जान लीजिए
इसकी एक और बड़ी खासियत है और यह लॉक इन पीरियड का होना। इससे मार्केट में जब भी अप एंड डाउन्स की स्थिति आती है तब उस समय तीन साल के लॉक इन पीरियड के कारण आपका पैसा यहां पड़ा रहता है और यह बाद में आपके निवेश को बेहतर रिटर्न देता है। 

इसका मतलब है कि यहां अगर आप लंबे समय की अवधि के लिए निवेश की सोचकर आएं तो फिर तगड़ा मुनाफा लेकर जाएंगे। यही वजह है कि अगर आप रिटायरमेंट की प्लानिंग कर रहे हैं तो फिर यह आपके लिए बेहतर निवेश का विकल्प है। 


अब SIP के फायदे जान लीजिए
अब बात करते हैं SIP के बारे में। एसआईपी यानी सिस्टमैटिक इंवेस्टमेंट प्लान। इस प्लान की खासियत है कि आप अपनी सुविधा और क्षमता के अनुसार किसी भी रकम से इस प्लान को शुरू कर सकते हैं। यानी इसमें एकमुश्त पैसा निवेश करने की जगह थोड़ा थोड़ा करके लंबे समय तक अगर आप पैसे निवेश करेंगे तो आपको लंबी अवधि में जबरदस्त फायदा होगा। साथ ही एसआईपी करने पर आप टैक्स से भी छूट पा जाते हैं। 

 

संवादपत्र

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